आदिवासी महिला राष्ट्रपति का इफेक्ट दिखाई देगा अगस्त में बनने वाली कांग्रेस की नई कार्यकारिणी में
भोपाल। प्रदेश कांग्रेस के संगठनात्मक चुनाव अगस्त तक हो जाएंगे। इसके बाद प्रदेश कार्यकारिणी के गठन में आदिवासी और ग्रामीण क्षेत्रों से युवाओं को महत्व देने के साथ ही अनुभवी पदाधिकारियों को भी रिपीट किया जाएगा। इससे मौजूदा कई चेहरे नई टीम में नहीं होंगे, बल्कि कोशिश होगी कि 2023 के विधानसभा चुनाव के मद्देनजर एक बैलेंस टीम बन सके।
पार्टी सूत्रों की माने तो मौजूदा अध्यक्ष कमल नाथ ही प्रदेश की कमान संभालेंगे। ऐसे में माना जा रहा है कि प्रदेश कार्यकारिणी सदस्यों में ज्यादा बदलाव की उम्मीद नहीं है, फिर भी नई टीम में ग्रामीण और आदिवासी इलाकों से कई नई चेहरे शामिल किए जाएंगे। साथ ही युवाओं और छात्राओं को जोड़ने के लिए ज्यादा स्पेस दिया जाएगा। बावजूद पुराने चेहरों से एकदम से पल्ला नहीं झाड़ा जाएगा, क्योंकि जमीनी जानकारी के अलावा विधानसभा के लिए टिकट निर्धारण के दौरा दावेदारों की कुंडली बनाने में यही पुराने चेहरे मददगार साबित होंगे।
आदिवासी राष्ट्रपति का इफेक्ट
भाजपा ने पहली आदिवासी महिला को राष्ट्रपति के पद तक पहुंचाकर ट्राइबल बेल्ट में जश्न मनाते हुए पकड़ बनाना शुरू कर दिया है। इसी के मद्देनजर अब कांग्रेस में भी आदिवासी चेहरों को ज्यादा मौके देने की तैयारी है। इसके लिए मौजूदा सीनियर नेताओं के साथ ही क्षेत्र विशेष के उप कमेटियां बनाई जा सकती हैं, ताकि ज्यादा नाम एडजस्ट किए जा सकें।
विधायकों की पसंद को तवज्जो
पीसीसी में एडजस्टमेंट के लिए मौजूदा विधायकों की पसंद को तवज्जो मिलने के संकेत हैं। इसके साथ ही कमल नाथ ने विधानसभावार सर्वे करवाया है, जिसमें 30 विधानसभा सीटों पर अभी से हरी झंडी दिखा दी गई है। यह सीटें अभी तक कांग्रेस हारती आई है। ऐसे में इन सीटों पर जिनको अभी से तैयारी के निर्देश दिए गए हैं, उनकी सहमति भी ली जाएगी।
सारी बातों का समन्वय होगा
संगठनात्मक चुनाव प्रक्रिया शुरू हो चुकी है, अगले महीने तस्वीर साफ हो जाएगी। संगठन चुनाव में जो जीत कर आएंगे, उसके अनुसार तय होगा। सारी बातों का समन्वय होगा, जिससे युवाओं के साथ ही अनुभवी भी टीम में रहेंगे।
चंद्र प्रभाष शेखर, संगठन प्रभारी, मप्र कांग्रेस
