बेगमगंज। मध्यप्रदेश जन अभियान परिषद् द्वारा संचालित ग्राम विकास प्रस्फुटन समिति सुनेहरा के अध्यक्ष रामकिशन लोधी द्वारा महान क्रांतिकारियों को श्रद्धांजलि देने के लिए कार्यक्रम आयोजित कर देश के महान क्रांतिकारियों को याद किया। ग्राम वासियों को अवगत कराया कि आज शहीदी दिवस है। 23 मार्च 1931 में आज ही के दिन भगत सिंह, राजगुरु और सुखदेव को फांसी दी गई थी। कोर्ट ने तीनों को फांसी दिए जाने की तारीख 24 मार्च तय की थी, लेकिन ब्रिटिश सरकार को माहौल बिगड़ने का डर था, इसलिए नियमों को दरकिनार कर एक दिन पहले ही तीनों क्रांतिकारियों को चुपचाप लाहौर सेंट्रल जेल में फांसी पर चढ़ा दिया गया। इन तीनों पर अंग्रेज अफसर सांडर्स की हत्या का आरोप था।
इतिहास में राजगुरु और सुखदेव के साथ फांसी पर चढ़े थे भगत सिंह,।
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महान क्रांतिकारियों को याद करने आयोजित कार्यक्रम |
28 सितंबर, 1907 को पंजाब के लायलपुर में बंगा गांव में जन्मे भगत सिंह महज 12 साल के थे, जब जलियांवाला बाग कांड हुआ। इस हत्याकांड ने उनके मन में अंग्रेजों के खिलाफ गुस्सा भर दिया था।
काकोरी कांड के बाद क्रांतिकारियों को हुई फांसी से उनका गुस्सा और बढ़ गया। इसके बाद वो चंद्रशेखर आजाद के हिन्दुस्तान रिपब्लिकन एसोसिएशन से जुड़ गए। 1928 में साइमन कमीशन के खिलाफ हुए प्रदर्शन के दौरान अंग्रेजों ने लाठीचार्ज कर दिया। इस लाठीचार्ज में लाला लाजपत राय को गंभीर चोटें आईं। ये चोटें उनकी मौत का कारण बनीं।
इसका बदला लेने के लिए क्रांतिकारियों ने पुलिस सुपरिटेंडेंट स्कॉट की हत्या की योजना तैयार की थी आदि विस्तार से जानकारी दी गई । कार्यक्रम में विश्वनाथ सिंह, गजराज सिंह लोधी, ताहर सिंह लोधी, समिति अध्यक्ष रामकिशन लोधी, फूल सिंह,भगवत सिंह, वाबूलाल प्रजापति, ग्याप्रसाद, रघुवीर सिंह, उदयराम,हरीचरन , उदयराम, हरीनारायण, भगवत सिंह समेत समिति सदस्यों एवं मुख्यमंत्री जनसेवा मित्र बलराम सिंह लोधी आदि ने तीनों के चित्र पर माल्यार्पण कर उन्हें क्षेत्र से याद किया।