उपजेल बेगमगंज में प्रात:काल अपने पिता के विरोधी की हत्या के आरोप में बंद एक आरोपी ने बलात्कार के मामले में बंद एक वृद्ध बंदी के सिर में बाल्टी मारकर जान ले ली। इस दौरान बचाव के लिए कैदी चिल्लाता रहा, लेकिन कोई बचाने नहीं आया। बाद में जेल स्टाफ सिविल अस्पताल लेकर पहुंचा, जहां उपचार के दौरान उसकी मौत हो गई। इससे भड़के मृतक के परिजनों ने जेल प्रशासन पर मिलीभगत का आरोप लगाते अस्पताल के सामने ही चक्काजाम कर दिया, जिसे किसी तरह पुलिस ने समझाकर खत्म कराया। गौरतलब होगा कि पूर्व में भी एक कैदी पर जानलेवा हमला हुआ था, जिसमें उसका हाथ कट गया था।
हत्या के आरोपी ने बलात्कार के आरोपी की जेल में बाल्टी मारकर की हत्या
हत्यारे को मानसिक रोग के इलाज के बाद ठीक होने पर लाया गया था जेल में
भ्रष्टाचार और लापरवाही से पहले भी कैदियों पर हो चुके हैं जानलेवा हमले
मृतक ग्राम सलैया तहसील बेगमगंज निवासी भोगीराम पुत्र हरजू धानक 45 वर्ष 5 जनवरी 13 को गिरफ्तार होकर उपजेल में बलात्कार के मामले में अपने बहनोई नन्ने भाई के साथ न्यायिक हिरासत में है। उसका बेटा शिवराज सिंह धानक एवं साला रामबाबू जमानत पर रिहा हो चुके है। इन चारों पर ग्राम सलैया के ही जगदीश चौधरी ने अपनी 18 वर्षीय बहिन का अपहरण कर बलात्कार किए जाने का आरोप लगाते हुए प्रकरण दर्ज कराया था। घटना के बारे में बताया गया है कि मृतक भोगीराम सुबह करीब पौने आठ बजे कुए के पास बनी हौज पर कपड़े धो रहा था और अन्य बंदी भी नहा धो रहे थे। तभी बंदी राजेश वहां पहुंचा और उसने मृतक भोगीराम से बाल्टी मांगी, भोगीराम द्वारा मना किए जाने से उत्तेजित होकर आरोपी राजेश ने एकाएक बाल्टी छीनकर भोगीराम पर हमला कर दिया जो उसके सिर व पीठ में लगी। प्रहार इतना तेज था कि भोगीराम के माथे एवं सिर में दो जगह से खून की तेज धार फूट पड़ी एवं नाक से भी खून बहने लगा। इसके बाद अन्य कैदियों ने आरोपी को धर दबोचा। चीख पुकार सुनकर आफिस में मौजूद जेलर ज्योति तिवारी के साथ स्टाफ पहुंचा और अचेतावस्था में भोगीराम को सिविल अस्पताल पहुंचाया। डा. नीलेश चौरसिया ने उपचार शुरू किया, लेकिन इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई। डाक्टर ने उसके सिर में तीन गंभीर चोटे व पीठ में चोट आना बताया है। सूचना मिलते ही जेल अधीक्षक व एसडीएम डीके सिंह, एसडीओपी गिरीश बोहरे, तहसीलदार एसएल शाक्या, एसआई एसबी तिवारी, यूके मिश्रा सिविल अस्पताल पहुंच गए।
हत्यारा पहले गला घोट कर चुका है हत्या
26 वर्षीय हत्या का आरोपी राजेश चन्द्रपुरा तहसील सिलवानी का है, जो अपने पिता रमेश आदिवासी के विरोधी विजय आदिवासी पिता गुलाब आदिवासी 70 वर्षीय की गला दबाकर जघन्य हत्या के मामले में 22 मार्च 14 को गिरफ्तारी के बाद से ही उपजेल बेगमगंज में है।
उसने अप्रेल माह में उपजेल में बंद एक अन्य हवालाती नत्थू की गर्दन दबाकर मारने का प्रयास किया था। तब जेल प्रशासन द्वारा न्यायालय की अनुमति से उसे भोपाल जेल भेज दिया गया था। लेकिन इलाज के बाद ठीक बताकर दो माह पूर्व उसे भोपाल से पुन: बेगमगंज उपजेल भेज दिया गया था।
पति की लाश देखते ही बेहोश हो गई पत्नी
मृतक की पत्नि मानकुवर बाई, जो पति के जेल में बंद होने के बाद से बेगमगंज के टेकरी मोहल्ले में अपने दो पुत्र व तीन पुत्रियों के साथ निवास कर रही है, को सूचना देकर पुलिस ने अस्पताल बुलाकर मृतक की पहचान कराई। मृतक को देखते ही जोर-जोर दहाड़े मारकर रोने लगी और बेहोश हो गई। उसकी हालत को देखते हुए उसे वहीं भर्ती किया गया। मृतक की पत्नि मानकुवंर बाई व अन्य परिजनों का रो रोकर बुरा हाल था जो रोते हुए अपने विरोधी जगदीश चौधरी पर हत्या करने का आरोप लगा रहे थे। उनका कहना था कि जगदीश द्वारा षड़यंत्र रचकर मृतक भोगी राम सहित पुत्र भाई व जेठ को पहले झूठे प्रकरण में फंसाया और आज उसके पति की हत्या करवा दी।
परिजनों ने अस्पताल के सामने चक्काजाम किया |
जेल अधीक्षक एवं एसडीएम डीके सिंह का कहना है कि प्राथमिक जांच की गई है, जिसकी पूरी रिपोर्ट जिला प्रशासन को भेजी जा रही है। जिलाधीश से निर्देश मिलने के उपरांत आवश्यक कार्रवाई की जाएगी। जेल में ऐसी घटनाअों की पुनरावृति न हो इसकी भी व्यवस्था की जाएगी, अब जेल में सभी बाल्टियां प्लास्टिक की ही रखी जाएंगी। जेलर ज्योति तिवारी ने बताया कि घटना के समय वह आफिस में काम कर रही थी, चीख पुकार सुनकर पहुंची। घायल बंदी को सिविल अस्पताल भेजा, लेकिन खून अधिक निकल जाने के कारण मौत हो गई। एक बाल्टी कुएं से पानी निकालने के लिए लोहे थी, अब वह भी नहीं रखी जाएगी।