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7 लाख की रिश्वत लेेते हुए पकडा गया लोक निर्माण विभाग का उपयंत्री

कांग्रेस नेता व ठेकेदार भरत मिलन पाण्डेय ने की थी लोकायुक्त में शिकायत

लोक निर्माण विभाग कार्यालय में लोकायुक्त की हुई कार्यवाही

लोकनिर्माण विभाग में पदस्थ है उपयंत्री मनोज रिछारिया

पन्ना। जिले में आज लोकायुक्त ने रिश्वत के मामले में बडी कार्यवाही करते हुए लोक निर्माण विभाग के उपयंत्री को 7 लाख रूपयें की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार किया गया। बताया जाता है कि लोक निर्माण विभाग की सडक के बिल पास करने के एवज में उपयंत्री मनोज रिछारिया ने 7 लाख रूपयें की रिश्वत की मांग की गई थी। फरियादी पूर्व जनपद पंचायत अध्यक्ष अजयगढ व ठेकेदार भरत मिलन पाण्डेय ने तुन्ना अहिगवां रोड का कार्य किया गया था। जिसकी लागत 11 करोड रूपयें थी। कार्य पूरा होने के बाद ठेकेदार का बिल विभाग द्वारा पास नही किया जा रहा था। भरत मिलन पाण्डेय द्वारा बार बार उपयंत्री से बिल पास करने की मांग की जा रही थी। जिस पर उपयंत्री मनोज रिछारिया ने करीब 40 लाख के बिल पास करने के एवज में 7 लाख रूपयें की मांग की। जिस पर भरत मिलन पाण्डेय द्वारा इसकी शिकायत लोकायुक्त पुलिस सागर से की गई। लोकायुक्त ने पूरी मामले की जांच की और शिकायत सही पाये जाने पर टै्रप की कार्यवाही प्रस्तावित की गई। बुधवार को जब लोकायुक्त की पुलिस पन्ना पहुंची और कार्यवाही करने के लिए तैयार रही। जिस पर भरत मिलन पाण्डेय लोक निर्माण के कार्यालय पहुंचे और मनोज रिछारिया से मुलाकात की। जिस पर मनोज रिछारिया ने रिश्वत से पैसों की मांग की। भरत मिलन पाण्डेय द्वारा 7 लाख नगद न होने की बात कही, उनके द्वारा 1 लाख रूपयें नगद व 6 लाख रूपयें चैक होना बताया। जिस पर उपयंत्री मनोज रिछारिया राजी हो गये और फरियादी भरत मिलन पाण्डेय ने जैसे ही रिश्वत के 1 लाख रूपयें नगद व 4 लाख व 2 लाख की चैक दी वैसे ही लोकायुक्त पुलिस ने उपयंत्री मनोज रिछारिया को रंगे हाथों गिरफ्तार कर लिया।

कांग्रेस नेता ने की थी लोकायुक्त से शिकायत

लोक निर्माण विभाग के उपयंत्री मनोज रिछारिया पर हुई लोकायुक्त की कार्यवाही से संबंध में फरियादी कांग्रेस नेता भरत मिलन पाण्डेय ने बताया कि मेरे द्वारा लोक निर्माण विभाग की सडक का निर्माण कराया गया था, कार्य होने के बाद मेरे द्वारा विभाग में बिल लगाये गये और बिल पास करने की बात कही, जिस पर मनोज रिछारिया ने 7 लाख की रिश्वत की मांग की जिसकी शिकायत भरत मिलन पाण्डेय द्वारा लोकायुक्त में की गई और आज रंगे हाथो उपयंत्री मनोज रिछारिया को गिरफ्तार किया गया। भरत मिलन पाण्डेय ने बताया कि मुझे बार बार प्रताडित किया जा रहा था, जिससे परेशान होकर मैने लोकायुक्त में शिकायत की। जिले में बैठे ऐसे भ्रष्ट अधिकारियों पर कार्यवाही होनी चाहिए, जिससे मैने कार्यवाही को अंजाम तक पहुंचाया। उन्होने बताया कि ऐसे भ्रष्ट अधिकारी एक ही स्थान पर लम्बे समय से जमे हुए है, अपनी पहुंच के चलते इनका स्थानांतरण नही होता है और लगातार भ्रष्टाचार को अंजाम देते रहते है।

इनका कहना है

लोक निर्माण विभाग के उपयंत्री मनोज रिछारिया को 7 लााख रूपये की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार किया है। भरत मिलन पाण्डेय द्वारा की गई शिकायत की जांच की गई जो सही पाई गई, जिस पर आज कार्यवाही करते हुए उपयंत्री मनोज रिछारिया को 1 लाख रूपयें नगद व 6 लाख रूपयें की चैक की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार कर भ्रष्टाचार अधिनियम के तहत कार्यवाही की गई है।

                                  राजेश खेडे डीएसपी लोकायुक्त सागर।

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